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रात के अँधेरे में अक्सर अरुण को अपनी मामी पूजा का प्यार ऐसे ही मिलता हैं. बीएससी के बाद बेंक एक्साम्स की पढाई के लिए वो मामा के वहां बंगलौर आया था. और डेढ़ हफ्ते में ही उसने मामी के नखरे देख के ठान लिया की बेंक ऑफिसर बनूँ या न बनूँ लेकिन इस छिनाल के बच्चे का पापा जरुर बनूँगा.कभी नहाते हुए अरुण से टॉवल माँगना तो कभी चाय देते वक्त पूरा झुक के उसे अपना क्लीवेज दिखाना, दिमाग का भोसडा कर रखा था इस सेक्सी माल ने.
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